वैज्ञानिकों को मिला 200 साल पुराना कंडोम, म्यूजियम में रखा है सजाकर, आखिर क्या है इसमें खास?

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रीज़म्यूजियम ने 200 साल पुराने कंडोम को प्रदर्शनी में शामिल किया है, जो भेड़ के एप्पेंडिक्स से बना है और कामुक चित्रकारी से सजा है. इसे 1000 यूरो में खरीदा गया था. प्रदर्शनी इस महीने के अंत तक चलेगी.

वैज्ञानिकों को मिला 200 साल पुराना कंडोम, म्यूजियम में रखा है सजाकर!

एम्स्टर्डम में 200 साल पुराना कंडोम म्यूजियम में रखा गया है. (फोटो: Kelly Schenk/Rijksmuseum/AP)

दुनिया में हमेशा कुछ अनोखी और अजीबोगरीब चीजें होती रहती हैं जो लोगों को चौंका देती हैं. हाल ही में ऐसी ही अनोखी चीज के बारे में लोगों को पता चला. वैज्ञानिकों के हाथ 200 साल पुराना कंडोम लगा है, जिसे उन्होंने म्यूजियम में सजाकर रखा है. नीदरलैंड्स के राष्ट्रीय संग्रहालय, रीज़म्यूजियम, ने हाल ही में एक अनोखी और ऐतिहासिक वस्तु को अपनी प्रदर्शनी में शामिल किया है, जो कला और एम्स्टर्डम के मशहूर रेड लाइट डिस्ट्रिक्ट के बीच एक अनोखा कनेक्शन दर्शाती है. यह वस्तु है लगभग 200 साल पुराना एक कंडोम, जिस पर कामुक चित्रकारी की गई है और जिसे 1830 के दशक में बनाये जाने का अनुमान है.

यह कंडोम शायद एक वैश्यालय से संबंधित एक लक्ज़री स्मृति के तौर पर बना था. इसे बनाने में भेड़ के एप्पेंडिक्स का इस्तेमाल हुआ था. रीज़म्यूजियम की क्यूरेटर जॉयस ज़ेलेन के अनुसार, इस कंडोम पर उकेरे गए चित्र में एक आधे कपड़े पहने हुए नन और तीन पुरोहितों के उभरे हुए जननांगों का कामुक चित्र शामिल है. इसके साथ फ्रेंच भाषा में लिखा है- “Voila, mon choix” यानी “यह मेरी पसंद है.” यह चित्र एक पुरानी पेंटिंग ‘पेरिस का न्याय’ (The Judgment of Paris) की ओर इशारा करता है, जिसमें ट्रोजन प्रिंस पेरिस तीन देवियों के बीच होने वाले एक ब्यूटी कंटेस्ट का जज बनता है.

इस कंडोम पर आर्ट वर्क बना है. (फोटो: Kelly Schenk/Rijksmuseum/AP)

कंडोम पर बना है चित्र
असोशिएटेड प्रेस और द गार्जियन के अनुसार यह कंडोम 20 सेमी लंबा है और UV लाइट के माध्यम से जांच करने पर ऐसा प्रतीत होता है कि इसे कभी प्रयोग में नहीं लाया गया. इस कंडोम को नवंबर 2022 में हारलेम में एक नीलामी में 1000 यूरो की कीमत पर खरीदा गया था. इसे रीज़म्यूजियम की एक छोटी प्रदर्शनी में प्रदर्शित किया जा रहा है, जिसमें 19वीं सदी के यौन कर्मियों और यौन स्वास्थ्य से जुड़े डच और फ्रांसीसी प्रिंट्स और चित्र शामिल हैं. यह प्रदर्शनी इस महीने के अंत तक चलेगी.

200 साल पुराना है कंडोम
यह कंडोम यौन स्वास्थ्य के दोनों पहलुओं- मज़ाकिया और गंभीरता को दर्शाता है. 1830 के दशक में जब यह बनाया गया था, उस समय कंडोम का इस्तेमाल विशेषकर चर्च द्वारा नकारात्मक माना जाता था. कंडोम मुख्य रूप से वैश्यालय या नाई की दुकानों के अन्दर ही बेचे जाते थे, और कुछ रिपोर्ट्स में लक्ज़री दुकानों द्वारा विशेष कस्टम मेड कंडोम की पेशकश का भी उल्लेख मिलता है. उस समय कंडोम आमतौर पर लिनन, जानवरों की झिल्लियों या कछुए के खोल से बनते थे, और वे यौन संचारित रोगों जैसे कि सिफलिस से बचाव में भी काफी हद तक असफल थे. 1839 में वल्कनाइज्ड रबर के आविष्कार के बाद ही कंडोम ज्यादा सुरक्षित और सुलभ हुए. नीदरलैंड्स के राष्ट्रीय संग्रहालय द्वारा आयोजित इस प्रदर्शनी से पता चलता है कि कैसे यौन स्वास्थ्य से जुड़े विषय सदियों से मानव जीवन का अहम हिस्सा रहे हैं, और कला के जरिए इन्हें समझना आज भी महत्वपूर्ण है.

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Ashutosh Asthana

आशुतोष अस्थाना न्यूज़18 हिन्दी वेबसाइट के ऑफबीट सेक्शन सीनियर सब-एडिटर के पद पर कार्यरत हैं. यहां वो दुनिया की अजीबोगरीब खबरें, अनोखे फैक्ट्स और सोशल मीडिया पर ट्रेंडिंग न्यूज़ को कवर करते हैं. आशुतोष को डिजिटल…और पढ़ें

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